आंवला नवमी के ये 8 चमत्कारी ज्योतिषीय उपाय करेंगे आपके ग्रहों को संतुलित

Amla Navami Ke Upay
आँवला नवमी के उपाय

Amla Navami Ke Upay: कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि के दिन आंवला नवमी मनाई जाती है।  इसे अक्षय नवमी भी कहा जाता है क्योंकि इस दिन किया जाने वाला दान पुण्य, सेवा, पूजा, अर्चना सब अक्षय फल देने वाला होता है। इस दिन किए गए किसी भी कार्य का फल कभी भी समाप्त नहीं होता वह अक्षय हो जाता है।

स्कंद पुराण, विष्णु पुराण, भविष्य पुराण और पद्म पुराण के अनुसार इस दिन भगवान विष्णु और आंवले के वृक्ष की पूजा की जाती है। पूरा दिन व्रत रखा जाता है। पूजा के पश्चात आंवले के पेड़ की छाया में बैठकर भोजन किया जाता है। माना जाता है कि ऐसा करने से हर पाप और बीमारियां दूर होती है और शुभ फल की प्राप्ति होती है। 

आंवला नवमी का दिन वैसे तो स्वयं मे ही एक ऐसा दिन है जिसमें पूजा अर्चना करने से ही अक्षय फल प्राप्त होते हैं। परंतु यदि इस दिन इसके अलावा कुछ ऐसे ज्योतिषी उपाय होते हैं जिनको यदि किया जाए तो आप अपने जीवन में सुख शांति, समृद्धि, अच्छा स्वास्थ्य संतान सुख,और ग्रह दोषों से मुक्ति पाई जा सकती है। आंवला नवमी के दिन किस तरह से ज्योतिषीय उपाय करके आप अपने जीवन को सफल बना सकते हैं हम आपको विस्तृत रूप से बताते हैं।

और पढ़ें: जानें आंवला नवमी का महत्व, पूजा विधि, कथा और शुभ मुहूर्त 

आंवला नवमी 2025 के विशेष ज्योतिषीय उपाय(Amla Navami Ke Astrological Upay)

कार्तिक शुक्ला नवमी के दिन सूर्य तुला राशि में और चंद्रमा मकर राशि में रहते हैं। यह योग सुख समृद्धि, ग्रहों के संतुलन और अच्छे आरोग्य के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है।

सूर्य दोष और अच्छे स्वास्थ्य के लिए आंवला अर्पण उपाय(Amla Navami Ke Upay)

यदि आपको नेत्र रोग है, पिता से मतभेद है या अत्मविश्वास में  कमी है या आपके सभी कामों में रुकावट पैदा होती है तो इसका अर्थ यह है कि आपका सूर्य कमजोर है। अपने कुंडली में सूर्य को मजबूत बनाने के लिए आपको निम्नलिखित उपाय करने चाहिए–

  • सुबह स्नान करके सूर्य देव को जल अर्पित करें।
  • जल के लोटे में आंवले के टुकड़े डालकर ॐ भास्कराय नमः मंत्र का 11 बार जाप करें।
  • फिर एक आंवला फल लेकर उसे सूर्य देव को अर्पित करते हुए और पूर्व दिशा में रखकर सूर्य देव को प्रणाम करें। 
  • बाद में उसे फल को ब्राह्मण या गाय को दान में दे दें।

ऐसा करने से सूर्य दोष शांत होता है आत्मबल में वृद्धि होती है और कार्यों में सफलता मिलती है।

चित्र: आंवला नवमी के ज्योतिषीय उपाय

धन लाभ और लक्ष्मी कृपा की प्राप्ति के लिए आंवले के वृक्ष का पूजन

शास्त्रों के अनुसार आंवले के वृक्ष में लक्ष्मी माता और विष्णु भगवान का वास होता है। इसलिए धन समृद्धि पाने के लिए आंवले के वृक्ष का पूजन अवश्य करना चाहिए। आंवले के वृक्ष पूजन के लिए निम्नलिखित उपाय इस प्रकार है:

  • सुबह उठकर स्नान करके शुद्ध हो जाए 
  • उसके पश्चात आंवला के वृक्ष के नीचे घी का दीपक जलाएं।
  • आंवला वृक्ष के पास बैठकर ॐ ह्रि श्रीं लक्ष्म्यै नमः 108 बार जाप करें 
  • आंवला के वृक्ष की 11 या 21 बार परिक्रमा करें
  • जल में केसर और पीले फूल डालकर आंवला के पेड़ को जल अर्पित करें।

इस प्रकार का उपाय करने से व्यक्ति के घर की आर्थिक स्थिति मजबूत होती है और धन आगमन के नए-नए मार्ग खुलते हैं। उसके घर परिवार से दरिद्रता का नाश होता है। 

शुक्र दोष और वैवाहिक जीवन के लिए उपाय

यदि किसी व्यक्ति के कुंडली में शुक्र ग्रह कमजोर है, जैसे रिश्तो में कटुता, प्रेम विवाह में रुकावट, जीवनसाथी के साथ अनबन, वैवाहिक जीवन में अशांति तो इस प्रकार के निम्नलिखित उपाय करने चाहिए जिससे उनका शुक्र ग्रह मजबूत हो–

  • आंवला नवमी के दिन आंवला के वृक्ष के पास सफेद कपड़ा बिछाकर चावल मिश्री और सफेद फूल अर्पित करें।
  • आंवला के वृक्ष के पास बैठकर ॐ शूं शुक्राय नमः का 108 बार जाप करें।
  • उसके पश्चात जल में मिश्री और सफेद फूल डालकर वह जल आंवला के पेड़ को अर्पित करें और वैवाहिक जीवन में मधुरता और प्रेम बना रहे ऐसी कामना आंवला के पेड़ से करें। 

इस प्रकार का उपाय करने से दापत्य जीवन में प्रेम और मिठास बनी रहती है और वैवाहिक जीवन सुखी होता है।

संतान सुख और गर्भ सिद्धि के लिए उपाय

आंवला नवमी को संतान सुख देने वाला दिन भी कहा जाता है। किसी व्यक्ति को संतान न हो रही हो या संतान अस्वस्थ रह रही हो तो उसे आंवला नवमी के दिन निम्न प्रकार के उपाय करने चाहिए–

  • सर्वप्रथम स्नान करके शुद्ध होकर आंवला वृक्ष के नीचे घी का दीपक जलाएं 
  • ॐ सूर्याय नमः और ॐ नमो भगवते वासुदेवाय का 108 बार जाप करें।
  • जल में कच्चा दूध और गुड़ मिलाकर आंवला के वृक्ष के जड़ में अर्पित करें।
  • यह उपाय पति पत्नी दोनों मिलकर करें ऐसा करने से उन्हें संतान सुख अवश्य ही प्राप्त होता है। 

इस प्रकार का उपाय करने से जिस भी पति-पत्नी को संतान सुख प्राप्त नहीं हो पा रहा हो या उनकी संतान अस्वस्थ रह रही हो तो इससे उसके स्वास्थ्य में सुधार होता है।

आंवला नवमी के दिन क्या करना चाहिए?

राहु केतु और पितृ दोष दूर करने के लिए उपाय

यदि आपके कुंडली में राहु केतु दोष है या पितृ दोष है तो आपके कार्य में बार-बार रुकावट आती है, अचानक धन हानि होती है और मन मे अशांति रहती है। इस प्रकार की बाधाएँ होने पर व्यक्ति को आंवला नवमी के दिन इस प्रकार के निम्नलिखित उपाय करने चाहिए:–

  • आंवला नवमी के दिन पीपल के पेड़ की और आंवला के वृक्ष की दोनों की पूजा करें।
  • दोनों वृक्ष के नीचे काले तिल और कच्चा दूध अर्पित करें
  • ॐ नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र का 108 बार जाप करें।
  • इसके पश्चात किसी गरीब और जरूरत मंद को तिल गुड़ और  काले कपड़ों का दान करें।

इस प्रकार का उपाय करने से किसी भी व्यक्ति के कुंडली में राहु और केतु दोष शांत होते हैं और यदि उसकी कुंडली में कोई पितृ दोष है तो वह भी शांत होता है जिससे उसके कार्य में आने वाली रुकावटें दूर होती है और उसके जीवन से नकारात्मकता समाप्त होती है। 

ग्रह दोष नजर दोष और घर में सुख शांति के लिए उपाय

यदि किसी व्यक्ति के घर में तनाव होता है लड़ाई झगड़े होते हैं तो निश्चित ही उनके घर में नजर दोष या ग्रह दोष है जिसे दूर करने के लिए उन्हें आंवला नवमी के दिन निम्नलिखित उपाय करने चाहिए:–

  • आंवला नवमी के दिन सुबह स्नान करके आंवला के वृक्ष की पूजा करें
  • उसके पश्चात् आंवला नवमी की शाम को अपने घर के मुख्य द्वार के पास 7 आंवला रख दे।
  • घर के मुख्य द्वार पर दीपक जलाकर ॐ नमो नारायणाय का 108 बार जाप करें।
  • अगले दिन उन आंवला को नदी या जल में प्रवाहित कर दें।

इस प्रकार का उपाय करने से घर से नकारात्मक ऊर्जा समाप्त होती है और सकारात्मक ऊर्जा बढ़ती है जिस घर परिवार में सुख शांति बनी रहती है। 

आँवला नवमी की पूजा विधि

विद्यार्थियों की पढ़ाई और करियर में प्रगति हेतु

जिन भी बच्चों का पढ़ाई में मन नहीं लगता या जिन व्यक्तियों की नौकरी में बाधाए उत्पन्न होती है उन्हें आंवला नवमी के दिन निम्न प्रकार के उपाय करने चाहिए जिससे उनकी बाधाए दूर हो:–

  • सुबह उठकर स्नान करके आवला के वृक्ष की पूजा करें 
  • आंवला के पेड़ के नीचे बैठकर ॐ बृं बृहस्पति नमः मंत्र का 108 बार जाप करें।
  • एक आंवला का फल गुरु व शिक्षक को अर्पित करें।
  • आंवला नवमी के दिन पीले कपड़े पहने तथा हल्दी का तिलक अवश्य लगए।

इस प्रकार का उपाय करने से विद्यार्थियों की बुद्धि में वृद्धि होती है उनकी स्मरण शक्ति बढ़ती है तथा व्यक्ति को नौकरी के नए अवसर प्राप्त होते हैं। 

संध्या काल का दिव्य उपाय

यह उपाय आंवला नवमी की संध्याकाल को किया जाता है। इस प्रकार का उपाय करने से मानसिक शांति मिलती है और आर्थिक की स्थिति में मजबूत होती है।

  • संध्या के समय आंवला के वृक्ष के पास घी का दीपक जलाएं और वृक्ष की तीन बार परिक्रमा करें। 
  • विष्णु भगवान और माता लक्ष्मी से प्रार्थना करें की आपके सारे कष्टों को दूर करें।
  • आंवला नवमी के दिन किया जाने वाला व्रत और पूजा अवश्य ही स्वीकार होते है और उनका फल जरूर मिलता है।

इस प्रकार का उपाय करने से मानसिक शांति मिलती है और आध्यात्मिक ऊर्जा में वृद्धि होती है। 

Anu Pal

मैं अनु पाल, Wisdom Hindi ब्लॉग की फाउंडर हूँ। मैं इंदौर मध्य प्रदेश की रहने वाली हूं। मैं एक ब्लॉगर और Content Writer के साथ-साथ Copy Editor हूं और 5 साल से यह काम कर रही हूं। पढ़ने में मेरी विशेष रूचि है और मैं धर्म, आध्यात्म, Manifestation आदि विषयों पर आर्टिकल्स लिखती हूं।

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